कानपुर: आयकर विभाग की टीम की 150 ऑफिसर्स की टीम ने मयूर ग्रुप पर कई राज्यों में एकसाथ छापेमारी की. ये छापेमारी कानपुर समेत मुंबई, सूरत, दिल्ली और एमपी के 20 ठिकानों में की गई है. सूत्रों के मुताबिक, आयकर विभाग की टीम ने पहले दिन की कार्रवाई में 3 करोड़ कैश और 3 करोड़ का सोना बरामद किया है. बताया जा रहा है कि आयकर विभाग टीम को मयूर ग्रुप के मालिक मनोज गुप्ता के कानपुर स्थित एमरल्ड सोसायटी के एक फ्लैट में खुफिया रूम भी मिला है. जिसमें कैश और सोने के सिक्के बरामद हुए हैं. मयूर ग्रुप वनस्पति तेल, फूड आइटम्स और पैकेजिंग का काम करता है.
दरअसल, आयकर अधिकारी जब घर की एक-एक चीज को जांच रहे थे, तभी उन्हें एक कमरे में बड़ा सा शीशा दिखा. जब उसको हिलाया गया तो पता चला की वह एक स्लाइडर मिरर है. शीशा स्लाइड कर अधिकारी अंदर गए तो नजारा देख हैरान रह गए. वहां पर खुफिया रूम था. जिसमें बड़ी मात्रा में कैश और अन्य कीमती चीज़ें रखी हुई थीं. सूत्रों की मानें तो मयूर ग्रुप ने एक ऐसी कंपनी से 25 करोड़ रुपये का लोन दिखाया है जो असलियत में है ही नहीं. रिकॉर्ड्स के मुताबिक, मयूर ग्रुप ने कोलकाता, मुंबई आदि जगहों की शेल कंपनियों से लोन दिखाए हैं. इसी के साथ कई ऐसी कंपनियों से फर्जी खरीददारी दिखाई है जो असल में वजूद में ही नहीं हैं. आरोप है कि कंपनी अपना काला पैसा रियल एस्टेट में खपा रही थी.
आयकर विभाग को शुरुआती तौर पर ऐसे सबूत मिले हैं जिसमे अंदेशा हुआ कि कंपनी कस्टम ड्यूटी बचाने के लिए “SAFTA” एग्रीमेंट का उल्लंघन कर रहीं थी. हालांकि, आगे की करवाई और विस्तृत जांच के बाद चीज़ें और ज्यादा साफ हो पाएंगी. बता दें कि आयकर विभाग ने गुरुवार सुबह मयूर ग्रुप के 20 से ज्यादा ठिकानों पर एक साथ कार्रवाई की. करीब डेढ़ सौ से अधिक आयकर अफसरों ने कानपुर समेत मध्य प्रदेश, दिल्ली, गुजरात, पश्चिम बंगाल के अलग-अलग ठिकानों पर छापा मारा. फिलहाल, आयकर विभाग की टीम मयूर ग्रुप से जुड़ी तमाम कंपनियों की गतिविधियों की जांच-पड़ताल कर रही है. इस ग्रुप का कारोबार 5 राज्यों में फैला हुआ है. इसमें उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश, बिहार और झारखंड शामिल हैं. इसके अलावा दिल्ली, मुंबई और कोलकाता में भी दफ्तर हैं.