दशहरा एक ऐसा पर्व होता है जब पूरे देश में उत्साह और खुशी की लहर होती है। यह पर्व बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक माना जाता है क्योंकि इसी दिन असुर राज रावण का वध प्रभु श्री राम ने किया था। यह वह समय है जब लोग रावण पर भगवान राम की जीत की खुशियां सदियों से मनाते चले आ रहे हैं।
यह त्योहार सांस्कृतिक और धार्मिक रूप से भी बहुत महत्व रखता है। ज्योतिष की मानें तब भी दशहरा का विशेष महत्व है और इस दिन लोग कई तरह के उपायों को आजमाते हैं जिससे घर में खुशहाली बनी रहे।
दशहरा के दिन स्नान करने का एक विशेष तरीका ज्योतिष में बताया जाता है और नहाने के पानी में एक चुटकी हल्दी मिलाने की सलाह दी जाती है। ऐसी मान्यता है कि यदि कोई इस दिन हल्दी के पानी से स्नान करता है तो उसके शरीर की सभी नकारात्मक ऊर्जाएं दूर हो जाती हैं। आइए ज्योतिषाचार्य डॉ आरती दहिया जी से जानें दशहरा के दिन हल्दी के पानी से स्नान करने से होने वाले अन्य लाभों के बारे में।
ज्योतिष के अनुसार दशहरा का महत्व
दशहरा एक ऐसा पर्व है जो बुराई पर अच्छाई की जीत के साथ शारदीय नवरात्रि उत्सव के समापन का प्रतीक भी माना है। इस पूरे पर्व के दौरान लोग माता दुर्गा के विभिन्न स्वरूपों की पूजा करते हैं। जिस दिन नवरात्रि का समापन होता है और दशहरा पर्व मनाया जाता है उस दिन घर की सकारात्मकता के लिए कई ऐसे अनुष्ठान करना फलदायी माना जाता है जिससे घर में पूरे साल खुशहाली बनी रहे। इसी वजह से इस दिन घर में पूरी तरह से सास-सफाई भी रखी जाती है जिससे घर के भीतर ऊर्जा का वास हो सके।
ज्योतिष के अनुसार हल्दी के फायदे
हल्दी किचन के एक सबसे ज्यादा उपयोगी मसालों में से एक माना जाता है। इसका रंग पीला होता है, इसलिए इसे बहुत ही पवित्र माना जाता है। यही नहीं इस मसाले का संबंध देवताओं के गुरु बृहस्पति से होता है इसी वजह से किसी भी शुभ काम में हल्दी का इस्तेमाल किया जाता है।
हल्दी का संबंध बृहस्पति ग्रह से है और यह सौरमंडल का सबसे बड़ा और सबसे परोपकारी ग्रह होता है। बृहस्पति ग्रह ज्ञान और समृद्धि को नियंत्रित करता है और इसी वजह से दशहरा के दिन हल्दी के पानी से स्नान करने से व्यक्ति को ज्ञान का आशीर्वाद मिलता है जो पूरे साल के लिए प्रभावी माना जाता है।
दशहरा के दिन हल्दी के पानी से स्नान करने के फायदे यदि आप दशहरा के दिन विभिन्न ज्योतिष उपायों के साथ हल्दी के पानी से स्नान करने के उपाय को भी आजमाती हैं तो आपको कई शारीरिक और मानसिक लाभ मिलते हैं।
इस मसाले को कई तरह से आपके लिए उपयोगी माना जाता है और इसे दशहरा पर्व से जुड़ी सकारात्मक ऊर्जा को ग्रहण करने का एक शक्तिशाली तरीका माना जाता है। आइए जानें हल्दी के पानी से स्नान करने के कुछ फायदों के बारे में।
हल्दी में शुद्धिकरण के गुण मौजूद होते हैं हल्दी अपने शारीरिक और आध्यात्मिक रूप से शुद्ध करने वाले गुणों के लिए प्रसिद्ध मानी जाती है। ज्योतिष में ऐसा कहा जाता है कि हल्दी वाले पानी से स्नान करने से आपका आभामंडल शुद्ध होता है और आपके आस-पास की नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है। यही नहीं ये आपकी आंतरिक शुद्धता को बढ़ावा देती है और शरीर और मन में आध्यात्मिक शक्ति के साथ सकारात्मक ऊर्जा का वास होता है।
हल्दी के पानी से स्नान करने से बृहस्पति ग्रह मजबूत होता है चूंकि हल्दी का संबंध बृहस्पति ग्रह से होता है, इसलिए यदि आप दशहरा के दौरान हल्दी वाले पानी से स्नान करते हैं तो बृहस्पति ग्रह का आशीर्वाद सदैव बना रहता है। यदि आपकी कुंडली में गुरु बृहस्पति की स्थिति कमजोर है तो आपको दशहरा के दिन नहाने के पानी में एक चुटकी हल्दी जरूर मिलानी चाहिए।
ऐसा करने से आपके जीवन में सदैव सफलता बनी रहती है। हल्दी के पानी से स्नान करने से ग्रहों के अशुभ प्रभावों से सुरक्षा मिलती है ज्योतिष शास्त्र के अनुसार हल्दी किसी भी ग्रह के नकारात्मक प्रभाव को रोकने में मदद करती है। यदि आपके ग्रहों की स्थिति ठीक नहीं है तो किसी भी तरह की अशुभ शक्तियों और प्रतिकूल ग्रहों के प्रभाव को कम करने के लिए दशहरा के दिन हल्दी के पानी से स्नान जरूर करें। यह पानी किसी भी नकारात्मक ऊर्जा को दूर करने में योगदान देता है।
कई रोगों को दूर करने में मदद करता है हल्दी का स्नान हल्दी में कई एंटीसेप्टिक गुण मौजूद होते हैं जो आपके शरीर की कई तरह के विकारों से मुक्त करने में मदद करते हैं। यदि आप हल्दी के पानी से स्नान करती हैं तो शरीर स्वस्थ रहता है और यदि शरीर में कोई चोट है तो उसे भी जल्द ठीक होने में मदद मिलती है। इसके शुद्धिकरण के गुण पूरे शरीर को शुद्ध करने में मदद करते हैं और आपकी सेहत का ख्याल रखते हैं। दशहरा के दिन हल्दी से स्नान करने की परंपरा बहुत पुरानी है और ज्योतिष हो या विज्ञान इसका महत्व बहुत ज्यादा है। यदि आप स्नान करती हैं तो आपको कई शारीरिक और मानसिक लाभ मिल सकते हैं।